Mahila Rojgar Yojana: हर परिवार की महिला को मिलेगा रोजगार का अवसर

Shubhra Sharma
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Mahila Rojgar Yojana
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Mahila Rojgar Yojan बिहार सरकार ने महिलाओं के सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ी पहल की है। मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना के तहत अब गैर स्वयं सहायता समूह (SHG) से जुड़ी महिलाएं भी आवेदन कर सकेंगी। इस योजना का मुख्य उद्देश्य राज्य के हर परिवार की कम से कम एक महिला को आर्थिक रूप से सक्षम बनाना और उन्हें रोजगार शुरू करने के लिए सहयोग प्रदान करना है।

 

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Mahila Rojgar Yojan बिहार सरकार ने महिलाओं के सशक्तिकरण और आत्मनिर्भरता की दिशा में एक बड़ी पहल की है। मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना के तहत अब गैर स्वयं सहायता समूह (SHG) से जुड़ी महिलाएं भी आवेदन कर सकेंगी। इस योजना का मुख्य उद्देश्य राज्य के हर परिवार की कम से कम एक महिला को आर्थिक रूप से सक्षम बनाना और उन्हें रोजगार शुरू करने के लिए सहयोग प्रदान करना है।योजना की शुरुआत क्यों हुई?SBI Clerk Prelims Admit Card 2025: पूरी जानकारी, डाउनलोड प्रक्रिया और एग्जाम गाइडयोजना का मुख्य लक्ष्ययोजना का क्रियान्वयनआवेदन की प्रक्रियाशर्तें और पात्रतासमूह से जुड़ने की प्रक्रियाशहरी क्षेत्र में आवेदन की स्थितियोजना से मिलने वाले लाभभौतिक सत्यापन अनिवार्ययोजना का प्रभावनिष्कर्ष
Mahila Rojgar Yojana
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योजना की शुरुआत क्यों हुई?

राज्य सरकार का मानना है कि महिलाओं की आर्थिक स्वतंत्रता ही असली सशक्तिकरण है। अब तक कई योजनाएँ केवल उन महिलाओं तक सीमित थीं जो पहले से स्वयं सहायता समूह से जुड़ी थीं। लेकिन बड़ी संख्या में महिलाएं ऐसी भी थीं जो समूह से जुड़ी नहीं थीं। उन्हें ध्यान में रखते हुए मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना का विस्तार किया गया है।

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योजना का मुख्य लक्ष्य

इस योजना का मकसद है कि हर परिवार की एक महिला को उसकी पसंद का रोजगार शुरू करने के लिए सहयोग मिले।

  • पहली किस्त में 10,000 रुपये की सहायता दी जाएगी।

  • रोजगार शुरू होने के बाद आकलन के आधार पर 2 लाख रुपये तक की अतिरिक्त आर्थिक मदद उपलब्ध कराई जाएगी।

योजना का क्रियान्वयन

इस योजना का क्रियान्वयन ग्रामीण विकास विभाग, बिहार सरकार द्वारा किया जा रहा है। इसे बिहार ग्रामीण जीविकोपार्जन प्रोत्साहन समिति (जीविका) के माध्यम से लागू किया जाएगा। ग्रामीण इलाकों के साथ-साथ शहरी क्षेत्रों में भी महिलाएं इसके लिए आवेदन कर सकती हैं।

आवेदन की प्रक्रिया

शहरी क्षेत्र की महिलाएं जो पहले से SHG से नहीं जुड़ी हैं, वे ऑनलाइन आवेदन कर सकती हैं।

  • आवेदन जीविका की आधिकारिक वेबसाइट (www.brlps.in) पर किया जाएगा।

  • आवेदन के समय इन जानकारियों और दस्तावेज़ों की आवश्यकता होगी:

    • मोबाइल नंबर

    • आधार संख्या

    • बैंक खाता विवरण

    • रोजगार का प्रकार

    • आधार कार्ड की कॉपी

    • बैंक पासबुक की कॉपी

    • पासपोर्ट साइज फोटो

    • हस्ताक्षर की स्कैन कॉपी

शर्तें और पात्रता

योजना का लाभ पाने के लिए कुछ शर्तें निर्धारित की गई हैं:

  • आवेदिका की उम्र 18 से 60 वर्ष के बीच होनी चाहिए।

  • आवेदिका या उसके पति आयकर दाता न हों।

  • आवेदिका या उसके पति सरकारी सेवा (नियमित या संविदा) में न हों।

  • महिला बिहार राज्य की निवासी होनी चाहिए।

  • योजना का लाभ पाने के लिए आवेदिका को स्वयं सहायता समूह से जुड़ना अनिवार्य होगा।

समूह से जुड़ने की प्रक्रिया

जो महिलाएं पहले से SHG से नहीं जुड़ी हैं, उन्हें आवेदन करने के बाद जीविका की टीम से संपर्क किया जाएगा। सामुदायिक संसाधन सेवी (CRP) उनके क्षेत्र में उनसे मिलकर उन्हें समूह से जोड़ेंगे। समूह में शामिल होने के बाद ही योजना की राशि और अन्य लाभ उन्हें मिल पाएंगे।

शहरी क्षेत्र में आवेदन की स्थिति

नगर निगमों में इस योजना के लिए हेल्प डेस्क बनाए गए हैं। उदाहरण के तौर पर पटना नगर निगम में नगर आयुक्त शुभम कुमार ने बताया कि वहां महिलाओं को योजना की जानकारी देने और आवेदन में मदद के लिए विशेष काउंटर लगाए गए हैं।

योजना से मिलने वाले लाभ

  1. पहली किस्त – 10,000 रुपये की राशि, रोजगार शुरू करने के लिए।

  2. अतिरिक्त सहायता – रोजगार का मूल्यांकन करने के बाद 2 लाख रुपये तक की मदद।

  3. प्रशिक्षण – योजना के तहत चयनित महिलाओं को रोजगार और व्यवसाय से जुड़ा प्रशिक्षण भी दिया जाएगा।

भौतिक सत्यापन अनिवार्य

सभी ऑनलाइन आवेदन प्राप्त होने के बाद भौतिक सत्यापन किया जाएगा। इसमें यह देखा जाएगा कि महिला बिहार की निवासी है या नहीं। साथ ही, उसके परिवार की स्थिति और पात्रता की शर्तों की भी जाँच होगी।

योजना का प्रभाव

यह योजना न केवल महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाएगी बल्कि राज्य की अर्थव्यवस्था में भी योगदान करेगी।

  • ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में महिलाएं छोटे व्यापार, स्वरोजगार और स्टार्टअप शुरू कर सकेंगी।

  • परिवार की आय बढ़ेगी और महिलाओं का आत्मविश्वास भी मजबूत होगा।

  • सामाजिक स्तर पर भी महिलाओं की भागीदारी और पहचान बढ़ेगी।

निष्कर्ष

मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना 2025 महिलाओं के लिए एक बड़ा अवसर है। यह योजना उन महिलाओं को भी लाभ दे रही है जो अब तक किसी समूह से नहीं जुड़ी थीं। 10 हजार रुपये की प्रारंभिक सहायता और 2 लाख रुपये तक की अतिरिक्त मदद से महिलाएं न केवल रोजगार शुरू कर पाएंगी बल्कि भविष्य में अपने व्यवसाय को भी बड़ा बना पाएंगी। यह कदम बिहार सरकार की महिला सशक्तिकरण के प्रति गंभीरता और प्रतिबद्धता को दर्शाता है।

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